'ऑपरेशन में घायल हुए तो भी नहीं जाएगी नौकरी', CAPF जवानों को रिटायरमेंट तक मिलेंगे पूरे लाभ: केंद्र सरकार का बड़ा ऐलान
CAPF जवानों को रिटायरमेंट तक मिलेंगे पूरे लाभ: केंद्र सरकार


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केंद्रीय गृह सचिव गोविंद मोहन ने रविवार (27 जुलाई, 2025) को एक बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (CAPF) के वे जवान जो अभियानों के दौरान गंभीर रूप से घायल होते हैं और जिन्हें अंग-विच्छेदन (amputation) से गुजरना पड़ता है, उन्हें अपनी सेवानिवृत्ति तक सेवा में रहने की अनुमति दी जाएगी। इतना ही नहीं, उन्हें नौकरी के दौरान मिलने वाले सभी लाभ भी मिलते रहेंगे।
अंग प्रत्यारोपण और वित्तीय सहायता
मोहन ने बताया कि सरकार CAPF के अधिकारियों और जवानों के लिए 'अंग-प्रत्यारोपण सर्जरी' (limb replacement surgery) के लिए दुनिया की बेहतरीन चिकित्सा सुविधाएँ और तकनीक उपलब्ध कराएगी। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि अंग खोने की भरपाई जहाँ तक संभव हो, की जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि ऐसे कर्मियों के लिए सरकार एक न्यूनतम वित्तीय पैकेज भी सुनिश्चित करेगी और उन्हें संगठन में समायोजित किया जाएगा।
CRPF स्थापना दिवस पर घोषणा
यह घोषणा केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के 87वें स्थापना दिवस समारोह में दिल्ली में की गई। बता दें कि CAPF कर्मियों को पदोन्नति और सेवा के लिए कुछ शारीरिक मानकों का पालन करना होता है, ऐसे में यह कदम घायल जवानों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है। इस अवसर पर सीआरपीएफ महानिदेशक जी.पी. सिंह भी मौजूद थे।
नक्सल विरोधी अभियान में घायल हुए जवान
गृह सचिव ने अपनी बात रखने के लिए एक उदाहरण भी दिया। उन्होंने बताया कि 11 मई को छत्तीसगढ़-तेलंगाना सीमा पर संपन्न हुए 21 दिवसीय नक्सल विरोधी अभियान 'ऑपरेशन ब्लैक फॉरेस्ट' के दौरान कम से कम पाँच CRPF कर्मी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। यह तलाशी अभियान करेगुट्टा हिल्स (के.जी.एच.) में चलाया गया था।
मणिपुर में तैनाती और मुश्किलें
मोहन ने मणिपुर में कानून-व्यवस्था की स्थिति पर भी बात की। उन्होंने बताया कि मई 2023 में राज्य में जातीय संघर्ष भड़कने के बाद से CRPF के बड़ी संख्या में जवान, जिनमें महिला कर्मी भी शामिल हैं, वहां कानून-व्यवस्था ड्यूटी पर तैनात हैं। अपनी हाल की मणिपुर यात्रा के दौरान, उन्होंने पाया कि सुविधाओं की कमी के कारण कर्मियों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने और विभिन्न कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। उन्होंने CRPF महानिदेशक से जवानों, खासकर महिला कर्मियों के लिए आवश्यक सुविधाओं पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा है और गृह मंत्रालय सर्वोत्तम सुविधाएँ सुनिश्चित करेगा।
नक्सलवाद के खिलाफ जंग और भविष्य की चुनौतियां
गृह सचिव ने कहा कि वामपंथी उग्रवाद (LWE) प्रभावित क्षेत्रों में शिविरों में रहने की स्थिति में सुधार के प्रयास भी जारी हैं। उन्होंने दावा किया कि CRPF मार्च 2026 से पहले LWE के खतरे को समाप्त करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। उन्होंने बताया कि LWE क्षेत्रों में 149 फॉरवर्ड ऑपरेटिंग बेस (एफओबी) चालू कर दिए गए हैं, जिससे माओवादियों को पीछे हटना पड़ा है। अधिकारी ने यह भी कहा कि बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल में LWE अपने अंत के करीब है।
मोहन ने गृह मंत्री अमित शाह के उस बयान का भी जिक्र किया, जिसमें उन्होंने रविवार (27 जुलाई, 2025) को राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति सम्मेलन में कहा था कि भारत का बढ़ता कद सुरक्षा चुनौतियों को जन्म देगा और CAPF उन चुनौतियों को विफल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।