ग्रामीण महिलाओं को बीमा क्षेत्र में मौका: 'बीमा सखी योजना'
LIC और ग्रामीण विकास मंत्रालय ने 'बीमा सखी योजना' के लिए समझौता किया।


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भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) ने केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय के ग्रामीण विकास विभाग के साथ एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस समझौते का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण इलाकों में 'बीमा सखी योजना' को बढ़ावा देना है।
क्या है 'बीमा सखी योजना'?
यह योजना खासतौर पर ग्रामीण महिलाओं को बीमा वितरण के क्षेत्र में एक मजबूत जगह बनाने में मदद करने के लिए बनाई गई है। 'बीमा सखी योजना' महिलाओं के लिए एक प्रदर्शन-आधारित (performance-oriented) और मानदेय (stipendiary) वाली LIC एजेंसी का करियर है। इस योजना से जुड़ने वाली महिलाओं को LIC के अन्य बीमा एजेंटों को मिलने वाले सभी लाभ और सुविधाएं भी मिलेंगी।
कितना मिलेगा मासिक मानदेय?
इस योजना के तहत, बीमा सखी एजेंटों को मासिक मानदेय भी दिया जाएगा। पहले साल में उन्हें ₹7,000, दूसरे साल में ₹6,000 और तीसरे साल में ₹5,000 का मानदेय मिलेगा। यह मानदेय कुछ खास नियमों और शर्तों के अधीन होगा।
कब और कहाँ हुआ समझौता?
यह समझौता इस महीने की शुरुआत में गोवा में आयोजित 'अनुभूति' नामक वित्तीय समावेशन पर राष्ट्रीय सम्मेलन के दौरान किया गया। इस सम्मेलन का आयोजन केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय ने किया था।
क्या होगा फायदा?
LIC ने बताया कि इस सहयोग से ग्रामीण परिवारों को अपनी घरेलू आय बढ़ाने में मदद मिलेगी। यह पहल ग्रामीण क्षेत्रों में वित्तीय समावेशन को मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम मानी जा रही है, जिससे महिलाएं आर्थिक रूप से सशक्त हो सकेंगी।