डोनाल्ड ट्रंप ने इंटेल के CEO से मांगा इस्तीफा, चीन से रिश्तों पर लगाया गंभीर आरोप
ट्रंप ने इंटेल के CEO लिप-बू टैन के इस्तीफे की मांग की।


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क्या है पूरा मामला?
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इंटेल के नए सीईओ लिप-बू टैन के तुरंत इस्तीफे की मांग की है। उन्होंने टैन को "गंभीर रूप से विवादित" बताया और इसका कारण चीन की कंपनियों से उनके संबंधों को बताया। ट्रंप ने अमेरिकी चिप बनाने वाली कंपनी इंटेल को मुश्किलों से निकालने की योजनाओं पर भी सवाल उठाए हैं।
चीन से संबंधों का आरोप
रॉयटर्स ने अप्रैल में एक विशेष रिपोर्ट में खुलासा किया था कि लिप-बू टैन ने या तो सीधे तौर पर, या फिर अपने द्वारा स्थापित या संचालित वेंचर फंड्स के माध्यम से, चीन की सैकड़ों उन्नत विनिर्माण और चिप कंपनियों में कम से कम 200 मिलियन डॉलर (करीब ₹1660 करोड़) का निवेश किया है। इनमें से कुछ कंपनियाँ चीनी सेना से भी जुड़ी हुई बताई गई हैं।
ट्रंप का बयान और इंटेल पर असर
ट्रंप का यह बयान तब आया है जब रॉयटर्स ने बताया था कि रिपब्लिकन सीनेटर टॉम कॉटन ने इंटेल के बोर्ड अध्यक्ष को एक पत्र भेजकर टैन के चीन से संबंधों पर सवाल उठाए थे। ट्रंप ने अपने 'ट्रुथ सोशल' प्लेटफॉर्म पर एक पोस्ट में कहा, "इस समस्या का कोई और समाधान नहीं है।" उनके इस बयान के बाद अमेरिकी शेयर बाजार में इंटेल के शेयरों में करीब 2% की गिरावट दर्ज की गई।
कंपनी की मुश्किलें
इंटेल में नेतृत्व परिवर्तन से कंपनी पर और दबाव आ सकता है। यह कंपनी अमेरिकी घरेलू चिप निर्माण को बढ़ावा देने के प्रयासों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। पिछले साल, इंटेल को 2022 के CHIPS और साइंस एक्ट के तहत $8 बिलियन (करीब ₹66400 करोड़) की सबसे बड़ी सब्सिडी मिली थी, जिसका उपयोग ओहायो और अन्य राज्यों में नए फैब (विनिर्माण इकाई) बनाने में किया जाना है।
विश्लेषकों की राय
विश्लेषकों ने इस बात पर बहस की कि क्या ट्रंप को किसी कंपनी के नेतृत्व पर इस तरह के बयान देने चाहिए। लाडेनबर्ग थालमैन एसेट मैनेजमेंट के सीईओ फिल ब्लैंकाटो ने कहा, "यह एक बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण मिसाल कायम करेगा। आप नहीं चाहेंगे कि अमेरिकी राष्ट्रपति यह तय करें कि कौन सी कंपनी कौन चलाता है, लेकिन निश्चित रूप से उनकी राय में दम और वजन है।" वहीं, इंटेल के शेयरधारक एप्टस कैपिटल एडवाइजर्स के डेविड वैगनर ने कहा कि "कई निवेशकों को लगता है कि ट्रंप कई मामलों में हस्तक्षेप करते हैं, लेकिन यह सिर्फ एक और संकेत है कि वह व्यापार को अमेरिका वापस लाने के लिए बहुत गंभीर हैं।"
इंटेल और टैन का जवाब
इंटेल और मार्च में सीईओ का पद संभालने वाले लिप-बू टैन ने तुरंत रॉयटर्स के टिप्पणी अनुरोधों का जवाब नहीं दिया। हालांकि, इंटेल के एक प्रवक्ता ने बुधवार को एक बयान में कहा था कि "इंटेल और टैन अमेरिका की राष्ट्रीय सुरक्षा और अमेरिकी रक्षा इकोसिस्टम में हमारी भूमिका की अखंडता के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं।"
लिप-बू टैन का पिछला रिकॉर्ड
रॉयटर्स ने अप्रैल में अपनी रिपोर्ट में बताया था कि टैन ने मार्च 2012 से दिसंबर 2024 के बीच चीन की कई कंपनियों में निवेश किया था, जिनमें पीपल्स लिबरेशन आर्मी के ठेकेदार और आपूर्तिकर्ता भी शामिल थे। मलेशियाई मूल के चीनी-अमेरिकी बिजनेस एग्जिक्यूटिव टैन, दिसंबर 2008 से दिसंबर 2021 तक कैडेंस डिजाइन के सीईओ भी रहे हैं। इस दौरान, उनकी चिप डिजाइन सॉफ्टवेयर कंपनी ने एक चीनी सैन्य विश्वविद्यालय को उत्पाद बेचे थे, जिसके बारे में माना जाता है कि वह परमाणु विस्फोटों का अनुकरण करने में शामिल था। कैडेंस ने पिछले महीने अमेरिकी आरोपों को निपटाने के लिए $140 मिलियन (करीब ₹1162 करोड़) से अधिक का भुगतान करने और दोषी ठहराए जाने पर सहमति व्यक्त की है।
कंपनी की भविष्य की योजनाएँ
कभी चिप निर्माण में अग्रणी रही इंटेल ने हाल के वर्षों में ताइवानी प्रतिद्वंद्वी टीएसएमसी से अपनी विनिर्माण बढ़त खो दी है। इंटेल के भाग्य को पुनर्जीवित करने के लिए, टैन ने वर्ष के अंत तक कंपनी के कर्मचारियों की संख्या में लगभग 22% की कटौती करके इसे 75,000 करने का लक्ष्य रखा है। इंटेल ने यह भी चेतावनी दी है कि यदि वह एक बड़े ग्राहक को सुरक्षित करने में विफल रहती है तो वह चिप निर्माण से बाहर निकल सकती है, जो एक संभावित गंभीर कदम होगा।