गूगल क्रोम में आएगा जेमिनी AI, एंटीट्रस्ट केस से राहत के बाद कंपनी का बड़ा कदम
गूगल क्रोम में जेमिनी AI, एंटीट्रस्ट केस के बाद कंपनी का बड़ा कदम


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क्या है यह नई सुविधा?
गूगल ने घोषणा की है कि वह अपनी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) मॉडल जेमिनी को अपने क्रोम ब्राउज़र में एकीकृत करेगा। यह कदम गुरुवार से अमेरिका में उपयोगकर्ताओं के लिए शुरू किया जाएगा। यह विकास ऐसे समय में हुआ है जब कुछ ही हफ़्ते पहले एक संघीय न्यायाधीश ने कंपनी को एक बड़े एंटीट्रस्ट मामले में विभाजित होने से बचाया था।
एंटीट्रस्ट केस में गूगल को मिली राहत
इस महीने की शुरुआत में, वाशिंगटन में एक न्यायाधीश ने फैसला सुनाया था कि अल्फाबेट के स्वामित्व वाली गूगल को क्रोम ब्राउज़र बेचने की आवश्यकता नहीं होगी। यह अमेरिका के एंटीट्रस्ट प्रवर्तकों के साथ चल रही लड़ाई में बिग टेक के लिए एक दुर्लभ जीत मानी गई है। हालांकि, न्यायाधीश ने ऑनलाइन खोज में प्रतिस्पर्धा बढ़ाने के लिए गूगल को प्रतिद्वंद्वियों के साथ डेटा साझा करने का आदेश दिया।
कहां और कब मिलेगी यह सुविधा?
गूगल ने एक ब्लॉग पोस्ट में बताया कि जेमिनी AI मॉडल क्रोम में मैक और विंडोज डेस्कटॉप उपयोगकर्ताओं के लिए अमेरिका में उपलब्ध होगा, जिनकी भाषा अंग्रेजी पर सेट होगी। जल्द ही, एप्पल के iOS क्रोम ऐप में भी जेमिनी को जोड़ा जाएगा। आने वाले हफ्तों में, गूगल वर्कस्पेस के माध्यम से व्यवसायों और अमेरिका में मोबाइल फोन पर भी जेमिनी की सुविधा मिलेगी।
जेमिनी की अन्य ऐप्स के साथ गहरी साझेदारी
टेक दिग्गज गूगल ने क्रोम में जेमिनी को अन्य गूगल ऐप्स, जैसे कि कैलेंडर, यूट्यूब और मैप्स के साथ भी गहराई से एकीकृत किया है। आने वाले महीनों में, क्रोम में जेमिनी को ऐसी क्षमताएं मिलेंगी जो कई चरणों वाले कार्यों को पूरा कर सकेंगी। यह पहले से देखी गई वेबसाइटों को ढूंढने और कई वेबसाइटों से सामग्री का सारांश तैयार करने जैसी सुविधाएँ भी देगा।
प्रतिस्पर्धा और भविष्य की योजनाएँ
यह एकीकरण उन अन्य कंपनियों के साथ प्रतिस्पर्धा करने की गूगल की कोशिश का भी हिस्सा है जो एजेंटिक ब्राउज़र प्रदान करती हैं। उदाहरण के लिए, पेरप्लेक्सिटी नामक कंपनी ने अगस्त में क्रोम के लिए $34.5 बिलियन का एकमुश्त नकद प्रस्ताव दिया था। पेरप्लेक्सिटी का AI-संचालित ब्राउज़र 'कॉमेट' उपयोगकर्ता की ओर से कुछ कार्य कर सकता है।
एप्पल और सिरी से भी जुड़ाव
सितंबर की शुरुआत में अमेरिकी न्यायाधीश अमित मेहता के फैसले से गूगल को क्रोम और एंड्रॉइड मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम पर नियंत्रण बनाए रखने की अनुमति मिली थी। साथ ही, यह फैसला डिवाइस निर्माताओं और ब्राउज़र डेवलपर्स के साथ कुछ विशेष अनुबंधों पर रोक लगाता है। गूगल अपने खोज इंजन को प्रदर्शित करने के लिए एप्पल जैसे साझेदारों को भुगतान करना जारी रख सकता है, जो ऑनलाइन खोज में उसके प्रभुत्व का एक केंद्रीय पहलू है। ब्लूमबर्ग न्यूज़ ने अगस्त में बताया था कि एप्पल ने सिरी वॉयस असिस्टेंट को नया रूप देने के लिए जेमिनी AI का उपयोग करने के लिए गूगल से संपर्क किया था।